उत्तराखंड को राष्ट्रीय ग्राम स्वराज अभियान के तहत मिलेंगे 135 करोड़

देहरादून: उत्तराखंड को राष्ट्रीय ग्राम स्वराज अभियान (आरजीएसए) के तहत वर्ष 2022-23 के लिए 135 करोड़ की धनराशि स्वीकृत की गई है। इस राशि का ग्राम पंचायत के सतत विकास के निर्धारित 9 लक्ष्यों की पूर्ति व प्रशिक्षण के लिए उपयोग किया जाएगा। पंचायतीराज, ग्रामीण निर्माण मंत्री सतपाल महाराज ने रविवार को मीडिया से बातचीत में यह जानकारी दी। उन्होंने बताया कि आजादी के अमृत महोत्सव के अवसर पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और केंद्रीय पंचायती राज मंत्री गिरिराज सिंह की पहल पर प्रदेश में पंचायतों को सशक्त करने का लगातार प्रयास किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि सतत विकास लक्ष्यों को हासिल करने के लिए गरीबी मुक्त एवं सुदृढ़ आजीविका युक्त गांव,स्वस्थ गांव, उन्नत गांव सहित सभी महत्वपूर्ण विषयों को लेकर प्रदेश की पंचायतों को आत्मनिर्भर बनाने के लिए मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के नेतृत्व में हम कृत संकल्पित हैं। हमने पंचायतों में विभिन्न योजनाओं को संचालित करने के लिए केंद्रीय पंचायती राज मंत्री गिरिराज सिंह से अपेक्षित धनराशि दिए जाने का अनुरोध किया था। उन्होंने कहा कि मुझे प्रसन्नता है कि केंद्रीय मंत्री ने हमारे अनुरोध को स्वीकार करते हुए पंचायती राज मंत्रालय भारत सरकार की केन्द्रीय योजना ग्राम स्वराज के तहत वर्ष 2022-23 के लिए उत्तराखंड को 135 करोड़ की धनराशि स्वीकृत की है। इससे त्रिस्तरीय पंचायत पदाधिकारियों एवं कार्मिकों का प्रशिक्षण, क्षमता विकास एवं एक्सपोजर विजिट के साथ साथ ग्राम पंचायत के सतत विकास के निर्धारित 9 लक्ष्यों की पूर्ति व प्रशिक्षण के अलावा प्रदेश के 95 विकास खंडों के लिए प्रति विकासखंड 01 कॉम्पेक्टर की दर से कुल 95 कॉम्पेक्टर, 01 जिला पंचायत हेतु पार्किंग, 200 पंचायत भवन, 500 ग्राम पंचायतों में कंप्यूटरीकरण के साथ साथ 100 पंचायत भवनों में अतिरिक्त कक्ष निर्माण के लिए धनराशि का प्रावधान किया गया है। महाराज ने बताया कि पर्यटन प्रदेश होने एवं प्लास्टिक मुक्त संकल्प के दृष्टिगत राज्य के प्रत्येक जनपद में साफ सफाई के लिए एक-एक वैक्यूम आधारित सफाई मशीन के लिए भी स्वीकृति प्रदान की गई है। जबकि कार्ययोजना में पूर्व से निर्मित राज्य स्तरीय पंचायत रिसोर्स सेंटर, जिला स्तरीय पंचायत रिसोर्स सेंटर एवं ब्लॉक स्तरीय पंचायत रिसोर्स सेंटर के लिए संकाय उपलब्ध कराए जाने का भी प्रावधान किया गया है। पंचायत मंत्री ने बताया कि सभी सरकारी गेस्ट हाउस में जिला पंचायत अध्यक्ष, उपाध्यक्ष एवं ब्लॉक प्रमुखों को ठहरने के लिए सरकारी शुल्क के साथ अनुमन्य किया जाएगा। पंचायती राज विभाग सभी जिला पंचायत अध्यक्ष, उपाध्यक्ष और प्रमुखों को सचिवालय पास भी जारी करेगा। जिला पंचायत अध्यक्ष, उपाध्यक्ष, प्रमुख, जेष्ठ एवं कनिष्ठ प्रमुखों के मानदेय में वृद्धि किये जाने की मुख्यमंत्री की घोषणा का शासनादेश जारी किए जाने के लिए वित्त विभाग से वार्ता की जाएगी। पंचायत मंत्री ने कहा कि राज्य वित्त में 10 प्रतिशत प्रशासनिक व्यय को प्रमुखों के ऑफिस, 100 लीटर पेट्रोल, डीजल सहित अन्य खर्चों के लिए स्पष्ट गाइडलाइन जारी की जाएगी। क्षेत्र पंचायत सदस्य के लिए भी मानदेय तय किया जाएगा और इसके लिए शीघ्र ही वित्त विभाग से वार्ता की जाएगी।

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