अगले दो दिन उत्तराखंड के लिए चुनौतीपूर्ण, देहरादून हरिद्वार टिहरी पौड़ी के लिए हुआ रेड अलर्ट जारी, भारी बारिश को देखते हुए प्रशासन भी आया अलर्ट मोड पर

देहरादून

मानसून में देश के कई हिस्से जलमग्न है बात अगर उत्तराखंड की करे तो उत्तराखंड के साथ साथ फिलहाल दिल्ली की मुसीबत कम भी नहीं हुई है कि एक बार फिर से मौसम विभाग ने ना केवल उत्तराखंड बल्कि उत्तराखंड में होने वाली बरसात के बाद दिल्ली को भी टेंशन में डाल दिया है मौसम विभाग ने एक बार फिर से चेतावनी जारी करते हुए कहा है कि 16 और 17 तारीख को उत्तराखंड के अधिकतर जनपदों में भारी बरसात होने की संभावना है बरसात के बाद नदियां उफान पर होंगी और अंजाम यह होगा कि जिस हथिनी कुंड के पानी से दिल्ली पानी पानी मौजूदा समय में बनी हुई है उसमें और भी इजाफा अगली 2 दिनों में हो सकता है ।

मौसम विभाग ने चेतावनी जारी करते हुए कहा है कि 15 जुलाई की रात से लेकर 16-17 जुलाई को प्रदेश के ज्यादातर इलाकों में भारी बारिश हो सकती है मौसम विभाग ने जिन जनपदों को रेड अलर्ट करा है उसमें देहरादून हरिद्वार उधमसिंह नगर टिहरी और पौड़ी गढ़वाल शामिल है बाकी जिलों में बरसात के कारण येलो अलर्ट जारी किया गया है विक्रम सिंह मौसम निदेशक बताते हैं कि जिस तरह से बीते दिनों प्रदेश में बारिश हुई है उसी तरह के हालात दोबारा से कई जनपदों में बन सकते हैं पहाड़ों में हो रही लगातार बारिश के कारण हरिद्वार उधमसिंह नगर नैनीताल और देहरादून जैसे क्षेत्रों में एक बार फिर से जलभराव की समस्या हो सकती है लिहाजा घरों से जरूरी हो तभी निकले और यात्रा फिलहाल स्थगित कर दें,

विक्रम सिंह कहते हैं कि पहाड़ों में लगातार बारिश होगी तो नदियों में पानी एक बार फिर से अत्यधिक आएगा मतलब साफ है कि पहाड़ों में हो रही लगातार बारिश का असर जैसे जैसे पानी नीचे की तरफ उतर रहा है वैसे-वैसे उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड के साथ-साथ दिल्ली में भी बाढ़ की स्थिति पैदा कर रहा है ऐसे में 16 और 17 जुलाई को अगर राज्य में भारी बारिश होती है तो 18 जुलाई को बारिश का पानी देर रात तक एक बार फिर से हथिनीकुंड बैराज पहुंच सकता है । ऐसे में दिल्ली के लिए अगर जल्द कोई व्यवस्था नहीं की गई तो आने वाले समय में और भी दिक्कतों का सामना दिल्ली वासियों को करना पड़ सकता है

दिल्ली के साथ ही हरिद्वार के लक्सर क्षेत्र में भी बीते 4 दिनों से हालात बेहद खराब बने हुए हैं ऐसे में अगर बारिश और अधिक हुई तो ना केवल गांव के आसपास का जलस्तर बढ़ेगा बल्कि लोगों को अन्य समस्याओं का सामना भी करना पड़ सकता है

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