VIDEO: ब्रह्ममुहूर्त में खुले विश्वप्रसिद्ध बदरीनाथ धाम के कपाट, केवल पुजारी रहे शामिल

चमोली: बदरीनाथ धाम के कपाट आज मंगलवार को ब्रह्ममुहूर्त में पुष्य नक्षत्र और वृष लग्न में खोल दिए गए। ग्रीष्मकाल में निरंतर भगवान बदरीविशाल की पूजा-अर्चना होगी। प्रात: तीन बजे से ही कपाट खुलने की प्रक्रिया शुरू हो गयी। श्री कुबेर जी बामणी गांव से लक्ष्मी द्वार से मंदिर प्रांगण पहुंचे। श्री उद्धव जी भी मुख्य द्वार से अंदर पहुंचे। ठीक प्रात: 4 बजकर 15 मिनट पर श्री बदरीनाथ धाम के कपाट खुले।

नारायण फ्लावर ऋषिकेश व बदरी-केदार पुष्प सेवा समिति ऋषिकेश की ओर से बदरीनाथ धाम के सिंह द्वार व अन्य देवालयों को 20 क्विंटल फूलों से सजाया गया है। कोरोना संक्रमण को देखते हुए मंदिर के हक-हकूकघारियों के साथ ही धर्माधिकारी, आचार्य ब्राह्मणों को ही धाम में जाने की अनुमति दी गई।

इस अवसर पर कुछ ही लोग अखंड ज्योति के गवाह बने। रावल द्वारा गर्भगृह में प्रवेशकर मां लक्ष्मी को उनके परिक्रमा स्थित मंदिर में विराजमान किया। इसके बाद भगवान के सखा उद्धव जी एवं देवताओं के खजांची कुबेर जी  मंदिर गर्भगृह में विराजमान हो गए। डिमरी पंचायत प्रतिधियों द्वारा भगवान बदरीविशाल के अभिषेक के लिए राजमहल नरेंद्र नगर से लाये गए तेल कलश ( गाडू घड़ा) को गर्भ गृह में समर्पित किया।

कपाट खुलने पर प्रथम महाभिषेक प्रधानमंत्री माननीय नरेंद्र मोदी के नाम से जनकल्याण एवं आरोग्यता की भावना से समर्पित किया गया है।

आपको बता दें कि 17 मई सोमवार को प्रात: 5 बजे श्री केदारनाथ धाम के कपाट खुले। जबकि श्री यमुनोत्री धाम के कपाट 14 मई और श्री गंगोत्री धाम के कपाट 15 मई को खुल चुके है।

इस समय कोरोना महामारी से सारा देश त्रस्त है, ऐसे में चारधाम यात्रा को अस्थायी रूप से स्थगित किया जा चुका है। नित्य नियम से पूजा-अर्चना चलेगी।

Bharatjan whatsapp group

About Author

You may have missed